नई दिल्ली: मध्य प्रदेश में कमलनाथ सरकार नहीं रही। कमलनाथ ने शुक्रवार को मुख्यमंत्री के पद से इस्तीफा दे दिया। दरअसल, सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद उन्हें विधानसभा में बहुमत साबित करना था, लेकिन 22 विधायकों के इस्तीफे के बाद उनके पास जरूरी संख्या नहीं थी। इसलिए फ्लोर टेस्ट से पहले ही उन्होंने इस्तीफा दे दिया। अब कांग्रेस मध्य प्रदेश ने एक मजेदार ट्वीट किया है, जिससे राज्य की आगे की राजनीति का पता लगाया जा सकता है।

एमपी कांग्रेस के ट्विटर हैंडल से कहा गया है, 'इस ट्वीट को संभाल कर रखना- 15 अगस्त 2020 को कमलनाथ जी मप्र के मुख्यमंत्री के तौर पर ध्वजारोहण करेंगे और परेड की सलामी लेंगे। ये बेहद अल्प विश्राम है।' 

कमलनाथ ने इस्तीफा देते हुए कहा, 'मध्य प्रदेश में पिछले 2 हफ्ते में जो कुछ भी हुआ वह प्रजातांत्रिक मूल्यों के अवमूल्यन का एक नया अध्याय हैं। मैं मप्र के मुख्यमंत्री के पद से अपना त्यागपत्र दे रहा हूं। साथ ही नए बनने वाले मुख्यमंत्री को मेरी शुभकामनाएं। मप्र के विकास में उन्हें मेरा सहयोग सदैव रहेगा।' 

ज्योतिरादित्या सिंधिया के कांग्रेस छोड़ भाजपा में शामिल होने के बाद मध्य प्रदेश में कांग्रेस के 22 बागी विधायकों के 11 मार्च को विधायक के पद से अपना त्यागपत्र देने से सियासी संकट पैदा हुआ। इनमें से छह के इस्तीफे विधानसभा अध्यक्ष ने तुरंत स्वीकार कर लिए थे, जबकि 16 बागी विधायकों के इस्तीफे गुरुवार देर रात को मंजूर हुए। इससे कमलनाथ की सरकार अल्पमत में आ गई थी। ये सभी विधायक वर्तमान में बेंगलुरु में ठहरे हुए हैं।

कमलनाथ के इस्तीफे के बाद सिंधिया ने ट्वीट कर कहा, 'मध्य प्रदेश में आज जनता की जीत हुई है। मेरा सदैव ये मानना रहा है कि राजनीति जनसेवा का माध्यम होना चाहिए, लेकिन प्रदेश सरकार इस रास्ते से भटक गई थी। सच्चाई की फिर विजय हुई है। सत्यमेवजयते।'

इस पर कमलनाथ सरकार में मंत्री रहे जीतू पटवारी ने कहा कि मिस्टर विभीषण, "सत्य मेव जयते" राष्ट्रीय आदर्श वाक्य है, आप इसे बदनाम मत करो। "सत्ता मेव जयते" आपका आदर्श वाक्य देश हमेशा याद रखेगा..।
Share To:

Post A Comment:

0 comments so far,add yours