केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया ने मंगलवार को कहा कि 96 देशों ने भारत के साथ कोविड-19 टीकाकरण प्रमाणपत्र को परस्पर मान्यता देने पर सहमति जताई है. मांडविया ने एक बयान में कहा कि भारत सरकार दुनिया के बाकी हिस्सों के साथ संपर्क में है ताकि दुनिया के सबसे बड़े कोविड-19 टीकाकरण कार्यक्रम के लाभार्थियों को स्वीकृति और मान्यता मिल सके ताकि वे शिक्षा, व्यवसाय और पर्यटन उद्देश्यों के लिए आसानी से यात्रा कर सकें.

स्वास्थ्य मंत्री ने कहा, 'वर्तमान में 96 देशों ने टीकाकरण प्रमाणपत्रों की परस्पर मान्यता के लिए सहमति व्यक्त की है.' मंत्रालय ने कहा कि इन देशों से लगातार यात्रा करने वाले लोगों को 20 अक्टूबर, 2021 को अंतरराष्ट्रीय आगमन के मद्देनजर जारी केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के दिशा-निर्देशों के अनुसार कुछ छूट प्रदान की गई है. मंत्रालय के मुताबिक, जो लोग विदेश यात्रा करना चाहते हैं, वे अंतरराष्ट्रीय यात्रा टीकाकरण प्रमाणपत्र को-विन पोर्टल से भी डाउनलोड कर सकते हैं.

जिन 96 देशों ने टीकाकरण प्रमाणपत्रों की परस्पर मान्यता के लिए सहमति व्यक्त की है, उनमें कनाडा, अमेरिका, ब्रिटेन, फ्रांस, जर्मनी, बेल्जियम, आयरलैंड, नीदरलैंड, स्पेन, बांग्लादेश, फिनलैंड, माली, घाना, सिएरा लियोन, नाइजीरिया, सर्बिया, पोलैंड, स्लोवाक रिपब्लिक, क्रोएशिया, बुल्गारिया, तुर्की, चेक गणराज्य, स्विट्जरलैंड, स्वीडन, ऑस्ट्रिया, रूस, कुवैत, संयुक्त अरब अमीरात, बहरीन, कतर आदि देश शामिल हैं.

दुनिया के बाकी देशों में दोनों देसी वैक्सीनों को मान्यता दिलाने के लिए स्वास्थ्य और विदेश मंत्रालय साथ मिलकर काम कर रहे हैं. पूरी दुनिया के सबसे बड़े वैक्सीनेशन कार्यक्रम में अब सरकार ने हर घर दस्तक प्रोग्राम शुरू किया है. इसमें स्वास्थ्यकर्मी घर-घर जाकर लोगों को वैक्सीन लगा रहे हैं.

देश में अब तक 109 करोड़ से ज्यादा टीके लगे अब तक पहली डोज- 74, 21,62,940 जबकि 34,86,53,416 लोगों को अब तक दूसरी डोज लगाई गई है. देश को उम्मीद है कि हर घर दस्तक प्रोग्राम से टीकाकरण में तेजी आएगी और जल्द ही पूरे देश को वैक्सीन लग जाएगी.

 

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