लखनऊ I समाजवादी पार्टी(सपा) के अध्यक्ष अखिलेश यादव और बहुजन समाज पार्टी (बसपा) सुप्रीमो मायावती की शुक्रवार को दिल्ली में मुलाकात हुई. बताया जा रहा है कि दोनों के बीच ये मुलाकात तकरीबन घंटे भर चली. नए साल में दोनों के इस पहली मुलाकात को शिष्टाचार के नाते मुलाकात का नाम दिया जा रहा है, लेकिन चर्चा यही है कि दोनों के बीच गठबंधन को लेकर बात हुई है.
यह मुलाकात दिल्ली में मायावती के आवास पर हुई. सूत्रों के मुताबिक मुलाकात में यूपी में लोकसभा चुनाव में सीट बंटवारे पर चर्चा हुई. दोनों के बीच सीटों के नए फॉर्मूले पर बात हुई है. सूत्रों के मुताबिक समाजवादी पार्टी उत्तर प्रदेश की 35 सीटों पर और बसपा 36 सीटों पर चुनाव लड़ सकती है.
वहीं 3 सीटें अजीत सिंह की पार्टी राष्ट्रीय लोकदल को देने और 4 सीटें रिज़र्व रखने पर सहमति बनी है. वहीं अमेठी और रायबरेली में गठबंधन कोई उम्मीदवार नहीं उतारेगा. बता दें कि अमेठी से कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी सांसद हैं और रायबरेली से यूपीए चेयरपर्सन सोनिया गांधी सांसद हैं. 2014 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस यूपी में सिर्फ यह 2 सीट ही जीतने में कामयाब रही थी.
बता दें कि उत्तर प्रदेश में लोकसभा की सबसे ज्यादा 80 सीटें हैं. पिछले दिनों हुए लोकसभा और विधानसभा उपचुनाव में सपा-बसपा गठबंधन को मिली जीत को देखते हुए यह तय माना जा रहा था कि दोनों पार्टियां मिलकर चुनाव लड़ेंगी, लेकिन बात अटक रही थी सीट बंटवारे को लेकर.

मतौर पर गठबंधन को लेकर जो फॉर्मूला तय होता है उसमें जिस सीट पर जिसका कब्जा होता है वो उसी को मिलती है. 16वीं लोकसभा में फिलहाल सपा के 7 सांसद हैं. 2014 में हुए चुनाव में सपा 31 सीटों पर दूसरे स्थान पर रही थी. वहीं बसपा 34 सीटों पर दूसरे स्थान पर रही थी और फिलहाल लोकसभा में उसका एक भी सांसद नहीं है.
इस फॉर्मूले के तहत माना जा रहा था कि सपा 38 सीट और बसपा 34 सीटों पर चुनाव लड़ सकती है. लेकिन अब जो नया फॉर्मूला सामने आ रहा है उसके मुताबिक सपा 35 और बसपा 36 सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारेगी.
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