नई दिल्ली: टेक्नोलॉजी दिवस पर पीएम मोदी ने ट्वीट करते हुए कहा है कि कोरोना से लड़ने में तकनीक का अहम योगदान है। प्रधानमंत्री ने कहा कि राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी दिवस पर, हमारा राष्ट्र उन सभी को सलाम करता है जो दूसरों के जीवन में सकारात्मक अंतर लाने के लिए प्रौद्योगिकी का लाभ उठा रहे हैं। पीएम मोदी ने कहा कि 1998 में आज ही के दिन हमारे वैज्ञानिकों ने ने असाधारण उपलब्धि हासिल की थी जो भारत के इतिहास में एक ऐतिहासिक क्षण था।
पोखरण का किया जिक्र
प्रधानमंत्री शोधकर्ता समुदाय के प्रयासों की सराहना की और कहा कि टेक्नोलॉजी की बदौलत दुनिया को कोविड -19 से मुक्त करने में मदद मिल रही है। राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी दिवस के अवसर पर अपने संदेश में पीएम मोदी ने पूर्व पीएम अटल बिहारी वाजपेयी के 'उल्लेखनीय नेतृत्व' का भी उल्लेख करते हुए कहा कि 1998 में पोखरण में हुए परमाणु परीक्षण से पता चलता है कि एक मजबूत राजनीतिक नेतृत्व कितना जरूरी है।
इसके अलावा प्रधानमंत्री ने कहा, 'आज दुनिया को कोविड-19 से मुक्त बनाने के प्रयासों में अनेक तकनीक की मदद ले रही है। मैं कोरोना वायरस को हराने के तरीकों पर अनुसंधान और अन्वेषण करने वाले सभी योद्धाओं को सलाम करता हूं। मुझे उम्मीद है कि स्वस्थ और बेहतर ग्रह बनाने के लिए हम तकनीक का इस्तेमाल करते रहेगें।'
इसलिए मनाया जाता है प्रौद्योगिकी दिवस
आपको बता दें कि प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में भारत की उपलब्धियों को लेकर 11 मई को राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी दिवस मनाया जाता है। 1998 में इसी दिन पोखरण (राजस्थान) में भारत ने पहला परमाणु परीक्षण किया था जो सफल रहा था। इस परीक्षण के बाद भारत परमाणु क्लब में शामिल होने वाला छठा देश बना था।
करना पड़ा था प्रतिबंधों का सामना
हालांकि इसके बाद भारत को कई प्रतिबंधों का सामना करना पड़ा था। जापान और संयुक्त राज्य अमेरिका समेत प्रमुख देशों द्वारा भारत के खिलाफ विभिन्न प्रकार के प्रतिबंधों लगाए गए थे। इसके अलावा घरेलू स्तर पर तैयार एयरक्राफ्ट 'हंस-3' ने भी इसी दिन परीक्षण उड़ान भरी थी और दिन भारत ने त्रिशूल मिसाइल का भी सफल परीक्षण किया था।
Post A Comment:
0 comments so far,add yours