नई दिल्ली: विराट कोहली के नेतृत्व वाली टीम इंडिया आगामी विश्व कप का खिताब जीतने की प्रबल दावेदार मानी जा रही है। इंग्लैंड की मेजबानी में 30 मई से क्रिकेट के महाकुंभ की शुरुआत होगी। आईसीसी वन-डे रैंकिंग में दूसरे स्थान पर काबिज भारतीय टीम 2019 विश्व कप में अपने अभियान की शुरुआत 5 जून को दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ करेगी। इससे पहले भारतीय टीम 25 और 28 मई को न्यूजीलैंड व बांग्लादेश के खिलाफ अभ्यास मैच खेलेगी। आईएएनएस ने क्रिकेट के सबसे बड़े टूर्नामेंट के लिए भारतीय टीम का स्वॉट (स्ट्रेंथ, वीकनेस, अर्पोचूनिटी और थ्रेट्स) विश्लेषण किया है। चलिए इसकी जानकारी आपको भी देते हैं।
भारतीय टीम की ताकत
भारतीय टीम की सबसे बड़ी ताकत उसके टॉप ऑर्डर के तीन बल्लेबाज हैं। रोहित शर्मा, शिखर धवन और विराट कोहली ने पिछले चार सालों में टीम इंडिया को अपने दम पर कई मैच जिताए हैं। भारतीय फैंस को उम्मीद होगी कि यह तिकड़ी फिर अपने फॉर्म में रहे और इंग्लैंड की फ्लैट पिचों पर रनों की आंधी लाए। भारतीय टीम की गेंदबाजी भी उसकी ताकत है। जसप्रीत बुमराह, मोहम्मद शमी, भुवनेश्वर कुमार, कुलदीप यादव और युजवेंद्र चहल किसी भी बल्लेबाजी ईकाई के परखच्चे उड़ाने का दम रखते हैं। ये गेंदबाज फ्लैट पिचों पर भी अपना जल्वा बिखेरने का दम रखते हैं।
टीम इंडिया की कमजोरी
टीम इंडिया की कमजोरी उसके शीर्ष क्रम पर अति निर्भरता है। रोहित, शिखर या विराट का बल्ला खामोश रहा तो भारतीय टीम ज्यादा दबाव में आ जाती है। उसका मिडिल ऑर्डर उम्मीद के मुताबिक प्रदर्शन नहीं कर पा रहा है। नंबर-4 और नंबर-6 की पहले अब तक सुलझी नहीं है। केदार जाधव भले ही फिट घोषित किए गए हो, लेकिन उनकी फिटनेस भी टीम इंडिया के लिए चिंता का विषय बनी हुई है। जाधव न सिर्फ लंबे शॉट लगाना जानते है बल्कि वह पार्ट-टाइम गेंदबाजी से साझेदारियां तोड़ना भी जानते हैं।
टीम इंडिया के पास क्या हैं मौके
हेड कोच रवि शास्त्री कह चुके हैं कि टीम इंडिया के पास पर्याप्त हथियार हैं और उनके खिलाड़ी किसी भी क्रम पर खेलने को तैयार हैं। बुमराह और भुवी जैसे भरोसेमंद तेज गेंदबाजों के अलावा भारत के पास हार्दिक पांड्या और रवींद्र जडेजा जैसे धाकड़ ऑलराउडर्स भी मौजूद हैं, जो समय पड़ने पर अपने कोटे के पूरे 10 ओवर कर सकते हैं। जरूरत पड़ने पर ये दोनों खिलाड़ी बड़े शॉट खेलना जानते हैं।
टीम इंडिया की बेंच स्ट्रेंथ भी काफी मजबूत है। उसके पास केएल राहुल, विजय शंकर और दिनेश कार्तिक मौजूद है, जो जरूरत पड़ने पर किसी भी क्रम की जिम्मेदारी संभालकर प्रदर्शन करना जानते हैं। यही वजह है कि टीम इंडिया को खिताब का प्रबल दावेदार माना जा रहा है।
टीम इंडिया के सामने खतरे
विराट सेना के सामने सबसे बड़ी चुनौती उसका हाल ही में वन-डे फॉर्म हैं। आईपीएल से पहले भारतीय टीम ने घरेलू जमीन पर ऑस्ट्रेलिया के हाथों वन-डे सीरीज गंवाई। इस दौरान भारत ने टीम संयोजन के लिए कई खिलाडि़यों को आजमाया, लेकिन उसके हाथ सफलता नहीं लगी। भारतीय टीम को पिछले 10 अंतरराष्ट्रीय मैचों में केवल तीन जीत हासिल हुई। कोहली को उम्मीद होगी कि उनकी टीम जीत की पटरी पर लौटे और विश्व कप में जोरदार शुरुआत करे।
इसके अलावा भारतीय टीम के पास बाएं हाथ का तेज गेंदबाज नहीं है। बुमराह, भुवी और शमी तीनों दाएं हाथ के तेज गेंदबाज हैं। ऐसे में खलील अहमद की उपस्थिति भारतीय तेज गेंदबाजी आक्रमण में वैरायटी ले आती, जो इंग्लैंड की फ्लैट पिचों पर कारगर साबित हो सकती थी।
भारतीय टीम 5 जून से साउथैम्पटन के मैदान पर दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ अपने अभियान का आगाज करेगी। मगर उससे पहले 'विराट सेना' 25 और 28 मई को दो प्रैक्टिस मैच खेलेगी।
विश्व कप के लिए भारत की 15 सदस्यीय टीम इस प्रकार है:
विराट कोहली (कप्तान), रोहित शर्मा, शिखर धवन, केएल राहुल, विजय शंकर, एमएस धोनी, केदार जाधव, दिनेश कार्तिक, युजवेंद्र चहल, कुलदीप यादव, भुवनेश्वर कुमार, जसप्रीत बुमराह, हार्दिक पांड्या, रवींद्र जडेजा और मोहम्मद शमी।
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